Day: December 14, 2017
#Kavita by Kavi Sharad Ajmera Vakil
यूं ही मोबाइल से दिल ना समझाया करो. हकीकत में नहीं तो ख्वाबों में आया करो.. रूठने मनाने से
Read more#Kavita by Om Prakash Agrwal , Babua
वंदन पुण्य पटल के गौरव का, स्वर्णिम इतिहास तुम्ही तो हो सत्य सनातन सुरभित गुलशन, ऐसा विश्वास तुम्ही तो
Read more#Kavita by Rajesh Kumar Singh
पति-पत्नी के रिश्ते पर नाज़ है। पति सुर है तो पत्नी साज़ है।। ||पति-पत्नी|| दो अनजाने मिलते हैँ;
Read more#Kavita by Dinesh Pratap Singh Chauhan
“स्वच्छंद” इतने दर्द सहे जीवन में, दुःख से नातेदारी सी दुःख और दर्द नहीं जब होते,उस दिन रहे उदासी सी
Read more#Gazal By Dr. Krishan Kumar Tiwari Neerav
गजल वक्त मुझसे भी मिलने का तुम्हारे पास कब होगा, हमारी भी जरूरत का तुम्हें एहसास कब होगा, मैं जिसमें
Read more#Kavita by Rifat Shaheen
बहुत सी बातें हैं तुमसे करनी कभी तो आओ क़रीब बैठो सुनाऊँ कुछ मैं शब के किस्से बताऊं कुछ मैं
Read more#Kavita by Nawal Pal Prabhakar
तेरी जय हो हे अन्नदात्री, हे सुखदात्री हे जन्मभूमि, हे कर्मभूमि तेरी जय हो, तेरी जय हो। भाग्य
Read more#Kavita by Nitish Kumar Rajput
कृष्ण की बाँसुरी जब कहीं भी बजे। मन में प्रीति कोई राधिका सी सजे।। मन समर्पित मेरा कृष्ण के
Read moreKavita By Vikram Gathania
इस भौतिकवादी समय में इस भौतिकवादी समय में इच्छाएं इतनी असीमित कि अक्सर अभाव खलता है पैसे का ! पैसा
Read more