#Kavita by Kavi Ajay Sharma Mevara
हम हुए बेहाल, हम हुए बेहाल
खरीफ की फसल नहीं बचेगी अबकी बार ।
रिमझिम बरसे पानी और ओलों की बौछार।
खेत में बिछे हैं ओले किसान हुए बेहाल।।
जीत गए नेता जी फिर क्यों किसानों की हार।
नहीं मिला मुआबजा तो कैसे चले परिवार।।
ये आफत है या अकाल अतिबृष्टि का ए हाल।
कैसे खाएंगे रोटी और कैसे बचेगी खाल।।
कवि अजय शर्मा मेवरा
ग्वालियर (m. P.)
7610661636
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